"जैसे अमेरिका ने पाकिस्तान में घुसकर लादेन को मारा, वैसे ही भारत ने..." – उपराष्ट्रपति

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने शनिवार को 'ऑपरेशन सिंदूर' को आतंकवाद के खिलाफ भारत की अब तक की सबसे सटीक और साहसिक सीमा पार कार्रवाई करार दिया। उन्होंने इसकी तुलना 2011 में अमेरिकी सेना द्वारा ओसामा बिन लादेन को मार गिराने की कार्रवाई से की और कहा कि जिस तरह अमेरिका ने पाकिस्तान में घुसकर 9/11 के मास्टरमाइंड को खत्म किया था, उसी तरह भारत ने भी आतंक के अड्डों को निशाना बनाकर पूरी दुनिया को संदेश दिया है। 


उन्होंने कहा, "एक वैश्विक आतंकवादी, जिसने अमेरिका की सरज़मीं पर 9/11 की भयावहता को अंजाम दिया था, उसे अमेरिकी सेना ने पाकिस्तान में घुसकर खत्म किया। भारत ने भी हाल ही में आतंकवादियों के खिलाफ ऐसी ही कार्रवाई की है, और अब दुनिया को हमारे इरादों की स्पष्ट तस्वीर मिल चुकी है।"

उपराष्ट्रपति ने ऑपरेशन सिंदूर को “आतंकवाद के विरुद्ध नई वैश्विक कार्यप्रणाली” बताया। उन्होंने कहा कि यह पहला मौका था जब भारत ने अंतरराष्ट्रीय सीमा पार कर जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा जैसे आतंकी संगठनों के गढ़ों पर अत्यंत सटीक हवाई हमले किए। उन्होंने दावा किया कि इन हमलों में केवल आतंकियों को ही निशाना बनाया गया और नागरिकों को कोई नुकसान नहीं हुआ, जिससे भारत की सैन्य दक्षता और नैतिक प्रतिबद्धता दोनों उजागर होती हैं।

धनखड़ ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को 2008 के मुंबई हमलों के बाद सबसे घातक करार दिया। उन्होंने कहा कि इस त्रासदी के तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार से एक कड़ा और निर्णायक संदेश दिया, जो महज़ शब्द नहीं थे, बल्कि उस पर तत्काल और सटीक कार्रवाई भी हुई। अपने संबोधन के अंत में उपराष्ट्रपति ने दोहराया कि भारत शांति में विश्वास रखता है, लेकिन आतंकवाद के खिलाफ कार्रवाई में कोई ढिलाई नहीं बरती जाएगी। उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को इस सिद्धांत का मूर्त रूप बताया।

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