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भारत में 2025 की अग्नि दुर्घटनाएँ : सरकार के लिए चेतावनी की घंटी

 11 Dec 2025

भारत में 2025 की अग्नि दुर्घटनाएँ और विस्फोटों की संख्या में उल्लेखनीय रूप से बढ़ोतरी हुई है। गोवा नाइट क्लब में लगी आग की त्रासदी एक बार फ़िर सरकार पर कड़े सवाल खड़े करती है। आख़िर क्यों देश में नियम कायदों की अनदेखी होती रहती है?

औद्योगिक इकाइयाँ हो, धार्मिक आयोजन हो या सड़क परिस्थितियाँ आगजनी की घटनाएं साल 2025 में चौंकाने वाली है। परिवहन वाहन, बाजार और आवासीय इलाके भी इससे अछूते नहीं हैं। भारत में 2025 की अग्नि दुर्घटनाएँ की बड़ी वजहों में सुरक्षा मानदंडों की उपेक्षा, खतरनाक सामग्री का अस्थिर भंडारण, इलेक्ट्रिक शार्ट सर्किट, गैस सिलिंडर फटने, भारी वाहन दुर्घटनाएँ और भीड़-भाड़ वाले आयोजनों में व्यवस्था की कमी और अनदेखी जैसे कारण हैं। गोवा नाइट क्लब में लगी आग ने सरकार की अनदेखी और अव्यवस्था की पोल खोल कर रख दी है। ऐसे क्लब अभी देश भर में हज़ारों की संख्या में हैं।

यहाँ भारत में 2025 की अग्नि दुर्घटनाएँ और विस्फोटों का उल्लेख किया गया है जिससे आप समझ पाएंगे कि आए दिन सामने आने वाले भीषण अग्निकांड और उनसे होने वाली जन-धन की हानि साफ बताती है कि न तो आग से बचाव उपायों की तरफ सरकार ध्यान दे रही और न ही अग्निकांड के बाद राहत कार्यों में तत्परता की तरफ गंभीर है।

कुंभ मेले में गैस सिलिंडर फटने के बाद तम्बुओं में आग फैली


आइए सिलसिले का शुभारंभ करते हैं। 19 जनवरी को कुंभ मेले में गैस सिलिंडर फटने के बाद तम्बुओं में फैली आग से शास्त्री ब्रिज के पास सेक्टर 19 में गीता प्रेस के कैंप में आग लगी जिससे 180 कॉटेज आग में जल गए। ऐसी घटनाएं महाकुंभ में 30 दिन में 5 बार सामने आयी थी। 25 जनवरी को प्रयागराज में मेले के बाहर दो वाहन आग से जल गए।

राजस्थान के बाँसवाड़ा में पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट


13 फरवरी को राजस्थान के बाँसवाड़ा रीको इंडस्ट्रीज पटाखा फैक्ट्री में भीषण आग लग गई। जिसमें 30 से 40 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। जानकारी के मुताबिक पटाखा फैक्ट्री में अचानक तेज धमाका हुआ। आवाज से आसपास के लोग सन्न रह गए।

MP के ग्वालियर में फैक्ट्री के बेसमेंट में आग


ग्वालियर के खासगी बाजार में एक इमारत में आग लग गई। इसकी चपेट में आकर एक के बाद एक 5 एलपीजी सिलेंडर फटे। आग बुझाने की कोशिश कर रहे दो फायर ब्रिगेड कर्मी घायल हो गए। हादसा तीन मंजिला कलां गोपाल बिल्डिंग में 10 अप्रैल की रात करीब 3 बजे हुआ। आग बेसमेंट में चल रहे धागा बनाने के कारखाने से शुरू हुई। धागा बनाने के सामान से आग तेजी से फैली और दूसरे-तीसरे फ्लोर के पांच फ्लैट्स को चपेट में ले लिया।

गुजरात के देवासा इलाके में पटाखा गोदाम में विस्फोट


गुजरात में बनासकांठा जिले के डीसा में 1 अप्रैल की सुबह पटाखों का गोदाम धमाके के बाद मौत की चीखों से गूंज उठा। जिसमें 22 लोगों की मौत हो गई। गोदाम के मालिक पिता-पुत्र खूबचंद मोहनानी और दीपक मोहनानी को इसमें दोषी पाया गया। जिसके पीछे नेताओं की मिलीभगत थी। मोहनानी के पास आतिशबाजी बेचने रखने का भी लाइसेंस नहीं था। इसके बावजूद गोदाम में पटाखे बनाने का गैर-कानूनी काम हो रहा था। जिसमें मजदूरों को कह दिया जाता था शटर बंद करके काम करें जिससे अधिकारी तुम्हें न देख सकें।

बनासकांठा के एसपी अक्षय राज मकवाना का कहना था जब उनकी टीम बनासकांठा के पटाखा फैक्ट्री पहुंची तो वहां कुछ नहीं था। रोशनी वेंटिलेशन भी नहीं था। क्या यह देखना यूजीवीसीएल का काम नहीं था? अगर यह सब अवैध था तो उन्हें पानी का कनेक्शन कैसे मिला? क्या यह देखना नगरपालिका का काम नहीं था? क्या श्रम विभाग का यह काम नहीं है कि वह इस बात पर नजर रखे कि कहां 10 से ज्यादा मजदूर काम कर रहे हैं? क्या औद्योगिक सुरक्षा अधिकारी को जाकर जांच नहीं करनी चाहिए थी?

बदायूं के मेले में 8 गैस सिलिंडर फटे, 24 दुकानें क्षतिग्रस्त


बदायूं के गांधी मैदान में लगे मेले में 23 जून को आग लगने से 8 गैस सिलेंडर फटे, जिससे करीब 24 दुकानें जलकर खाक हो गईं। हादसे में 3 लोग घायल भी हुए। 20 मिनट तक धमाका होता रहा। आग लगने की वजह शॉर्ट सर्किट बतायी गई। दुकानदार डर के मारे दुकान से बाहर भागे। सामान बचाने के कारण हादसे में 3 लोग घायल हो गए। दुकानदारों का लाखों का नुकसान हुआ।

तेलंगाना में केमिकल फैक्ट्री में विस्फोट-आग, 46+ मृत।


तेलंगाना के संगारेड्डी जिले में 30 जून को एक बड़ा हादसा हुआ जिसने पूरे देश को हिलाकर रख दिया। यहां की केमिकल फैक्ट्री में ब्लास्ट ने 46 से ज्यादा जानें ले लीं। पशामैलारम इंडस्ट्रियल एरिया स्थित केमिकल प्लांट Sigachi Industries में यह ब्लास्ट इतना भयंकर था कि बचाव कार्य दो दिन तक जारी रहा। फैक्ट्री में लगभग 150 कर्मचारी का करते थे जिसमें 90 लोग उस वक़्त मौजूद थे। संगारेड्डी पशामैलारम इंडस्ट्रियल कॉरिडोर में ऐसे कई हादसे पहले भी हो चुके थे।

राजस्थान में बस में आग लगी, 26 लोगों की मौत


जैसलमेर बस हादसा 14 अक्टूबर को तब हुआ जब जोधपुर जा रही एक निजी बस जैसलमेर से सिर्फ 10 मिनट निकलने के बाद आग की चपेट में आ गई। फॉरेंस‍िक जांच रिपोर्ट में आग लगने की वजह सिर्फ AC यूनिट और वायरिंग की लापरवाही बतायी गई। हादसे में 26 लोगों की मौत हो गई। इस बीच क़रीब 15 दिनों में बस में आग की 5 घटनाएं एक के बाद एक आयी थी। 24, 25 और 26 अक्टूबर को आंध्र प्रदेश, यूपी और एमपी में भी ऐसे ही हादसे हुए थे।

नोएडा के गौतम बुद्ध नगर में 24 घंटे में 26 आग की घटनाएँ


नोएडा के गौतम बुद्ध नगर जिले में दिवाली के दौरान, लगभग 21 अक्टूबर 2025 को, 24 घंटे के भीतर आग लगने की 26 घटनाएं हुईं, जिनमें घर, दुकान और कारखाने शामिल थे।

दिल्ली में लाल किला के बाहर गाड़ी में विस्फोट


दिल्ली में 10 नवंबर के दिन लाल किला मेट्रो स्टेशन के गेट नं-1 के पास एक गाड़ी का विस्फोट हुआ, जिसमें करीब 13 व्यक्तियों की मौत हुई, और 24 से ज्यादा लोग घायल हुए। दिल्ली पुलिस के अनुसार, यह धमाका अमोनियम नाइट्रेट की वजह से हुआ। हालांकि कई समूहों के अनुसार इसमें कुछ आतंकी हाथ भी बताया गया था। जिसमें आतंकी उमर का नाम बताया गया।

आंध्र प्रदेश पटाखा निर्माण इकाई में विस्फोट


आंध्र प्रदेश के डॉ. बी. आर. अंबेडकर कोनासीमा ज़िले में 8 अक्टूबर को एक बड़ा हादसा हो गया। जिले में एक पटाखा फैक्ट्री में भीषण आग लग गई। इस हादसें में छह मजदूर जिंदा जल गए और कई घायल हो गए। पुलिस ने घटना के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि रायवरम मंडल के कोमारीपालेम गांव में लक्ष्मी गणपति पटाखा फैक्ट्री में आज दिन में भीषण आग लग गई। जिसमें 6 लोग जिंदा जल गए और दो लोगों के घायल होने की खबर आयी।

गोवा बर्च नाइटक्लब में आग, 25 लोगों की मौत


साल 2025 जाते-जाते भी भारत में आग लगने की एक बड़ी त्रासदी मचा गया है| जिसमें 25 लोगों की मौत हो गई है। गोवा पुलिस क्लब में आग लगने के कारणों की जांच कर रही है,जिसके प्रारंभिक जांच से पता चला है कि लकड़ी की छत पर बिजली के पटाखे गिरने से आग लगी है। नाइट क्लब के मालिक लूथरा ब्रदर्स के खिलाफ लुक आउट सर्कुलर नोटिस जारी किया गया है और इंटरपोल ने उनके खिलाफ ब्लू कॉर्नर नोटिस जारी किया है। नाइट क्लब के को-ओनर अजय गुप्ता को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया है।

2025 में भारत में कुछ अन्य आग लगने कि घटनाएं


7-8 अक्टूबर 2025 : राजस्थान ट्रक के टकराने पर एलपीजी सिलेंडर विस्फोट; 40 से अधिक सिलेंडर फटे।

12 जुलाई 2025 गुड़गाँव (हरियाणा) : एक वाहन रासायनिक कंटेनरों से भरा गहरी खाई में गिरा और आग लगी, बड़ी तबाही टली।

8 अप्रैल 2025 : Agra, उत्तर प्रदेश डम्पर ट्रक कंटेनर ट्रक में टकराया, आग लगी; एक व्यक्ति की मृत्यु।

24 अक्टूबर 2025 : आंध्र प्रदेश के कुरनूल बस और मोटरसाइकिल के टकराने के बाद आग लगने से कम-से-कम 25 लोगों की मौत

5-6 नवंबर 2025: राजस्थान के जयपुर में डम्पर चालक शराब के प्रभाव में 17 वाहनों को टक्कर, आग लगी जिसमें 13 मृत।

26 सितंबर 2025: जयपुर-दिल्ली हाईवे के पास डम्पर ट्रक ने दो लोगों को कुचला, ट्रांसफॉर्मर से आग लगी

सरकार करे अपनी जवाबदेही पूरी


यह वर्ष हमें याद दिलाता है कि "एक घटना" कभी अकेली नहीं होती हर एक आग-जनी एक संकेत है कि कहीं-ना-कहीं ढाँचे, रखरखाव, नियंत्रण, प्रशिक्षण या नियामक निरीक्षण में कमी है। हमें साल भारत में 2025 की अग्नि दुर्घटनाओं से सीख लेनी चाहिए और उन्हें दोहरने से रोकने के उपाय खोजने चाहिए। सिर्फ मजिस्ट्रियल जांच बिठाने और कुछ अधिकारियों पर गाज गिराने से सरकार की जिम्मेदारी पूरी नहीं हो जाती। सरकार को इसके लिए पूरी ईमानदारी और जवाबदेही के साथ आगे आना होगा। सरकार को सुरक्षा और सुविधाओं के सभी पैमानों पर ऑडिट करते हुए स्थायी तौर पर पुख्ता व्यवस्था करनी होगी, ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।

भविष्य के लिए भी व्यवस्था करनी होगी कि मापदंडों को अच्छी तरह देखने-परखने के बाद ही अनुमति जारी हो। ऐसा सबक देश के सभी राज्यों की सरकारों और जिलों के प्रशासन को भी लेना होगा। इसकी जरूरत इसलिए है कि आए दिन सामने आने वाले भीषण अग्निकांड और उनसे होने वाली जन-धन की हानि साफ बताती है कि न तो आग से बचाव उपायों की तरफ गंभीरता बरती जा रही है और न ही अग्निकांड के बाद राहत कार्यों में तत्परता की तरफ ज्यादा ध्यान दिया जा रहा।

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