बिहार में चुनाव से पहले चल रहे मतदाता सूची पुनरीक्षण के विरोध में विपक्षी दलों ने बुधवार को राज्यव्यापी बंद का आह्वान किया। बंद का नेतृत्व कांग्रेस नेता राहुल गांधी, RJD नेता तेजस्वी यादव और जन अधिकार पार्टी के प्रमुख पप्पू यादव ने किया। तीनों नेता पटना स्थित इनकम टैक्स चौराहे पर जुटेंगे और वहां से प्रदर्शन करते हुए चुनाव आयोग के कार्यालय तक मार्च का ऐलान किया है।
राज्यभर में बंद का व्यापक असर देखने को मिला। पटना, दरभंगा, जहानाबाद, भोजपुर और बेगूसराय जैसे कई ज़िलों में सड़कों पर जाम लगा, ट्रेनों को रोका गया और विरोध प्रदर्शन तेज़ हुए।
भोजपुर के बिहिया स्टेशन पर पूर्व RJD विधायक भाई दिनेश ने अपने समर्थकों के साथ श्रमजीवी एक्सप्रेस और विभूति एक्सप्रेस को रोककर जमकर नारेबाजी की। हालांकि तीन मिनट बाद ट्रेनों को रवाना कर दिया गया।
दरभंगा में प्रदर्शनकारियों ने नमो भारत ट्रेन को रोका, वहीं जहानाबाद में महागठबंधन समर्थकों ने मेमू पैसेंजर को रोककर विरोध दर्ज कराया। कुछ समय बाद पुलिस ने मौके पर पहुंचकर सभी प्रदर्शनकारियों को ट्रैक से हटाया।
पटना के सचिवालय हॉल्ट पर पप्पू यादव ने अपने समर्थकों के साथ ट्रेन रोककर सरकार के खिलाफ विरोध जताया।
सड़क मार्ग पर भी बंद का खासा असर देखा गया। बेगूसराय में RJD कार्यकर्ताओं ने NH-31 को जाम किया और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। पटना के मनेर क्षेत्र में NH-30 पर प्रदर्शनकारियों ने टायर जलाकर सड़क पर आगजनी की। वहीं, माले के नेतृत्व में आरा-सासाराम मुख्य मार्ग को जाम कर दिया गया, जिससे सैकड़ों वाहन फंसे रहे।
इस पूरे विवाद की कानूनी लड़ाई भी अब तेज़ हो गई है। वोटर लिस्ट के पुनरीक्षण को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 10 जुलाई को सुनवाई करेगा। यह याचिका एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) ने 5 जुलाई को दायर की थी, जिसमें चुनाव आयोग के निर्देश को रद्द करने की मांग की गई है।