सोमवार को अपनी जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्य अयोध्या पहुंचे, जहां उन्होंने केंद्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने हाल ही में पाकिस्तान के खिलाफ की गई सैन्य कार्रवाई को लेकर सवाल उठाए और दावा किया कि इस ऑपरेशन के जरिए जनता को गुमराह किया गया।
मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि जिस कार्रवाई को लेकर पूरे देश को उम्मीद थी कि आतंकवाद के खिलाफ सख्त कदम उठाया जाएगा, वह कुछ ही घंटों में निष्फल साबित हुई। उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान की सीमा में घुसने के बावजूद कोई ठोस परिणाम नहीं दिखा और सरकार को जल्द ही अपने कदम पीछे खींचने पड़े।
मौर्य के अनुसार, इस पूरे अभियान से बहनों के सम्मान की रक्षा नहीं, बल्कि अपमान हुआ है।
उन्होंने सरकार पर यह भी आरोप लगाया कि उसने इस सैन्य कार्रवाई का उपयोग जनता की भावनाओं को भड़काने और राजनीतिक लाभ उठाने के लिए किया। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की रणनीति से जनता की आंखों में सिर्फ धूल झोंकी गई।
इसके साथ ही उन्होंने केंद्र की सत्तारूढ़ पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा कि यदि चुनावों में उनकी सीटें 400 से पार हो जातीं, तो आज देश का संविधान बदल चुका होता। उन्होंने दावा किया कि जनता ने इस बार सही समय पर फैसला लेकर सत्ताधारी दल को पूरी ताकत देने से रोका और उन्हें गठबंधन के सहारे सरकार बनाने को मजबूर किया।
स्वामी प्रसाद मौर्य ने एक देश, एक चुनाव के विचार पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने सुझाव दिया कि देश को अगर एक सूत्र में बांधना है, तो पहले शिक्षा व्यवस्था को समान बनाया जाना चाहिए। उनके अनुसार, हर बच्चे को चाहे वह किसी भी वर्ग या क्षेत्र से आता हो, एक जैसी और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिलनी चाहिए, तभी सही मायनों में राष्ट्रीय एकता स्थापित हो सकेगी।