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भारत-पाक तनाव के बीच ISRO प्रमुख का दावा, भारत की सुरक्षा के लिए अंतरिक्ष में तैनात हैं 10 उपग्रह

 12 May 2025

इसरो प्रमुख डॉ. वी. नारायणन ने कहा है कि भारत एक "जीवंत अंतरिक्ष शक्ति" के रूप में उभर रहा है और 2040 तक देश का अपना पहला अंतरिक्ष स्टेशन स्थापित होगा। उन्होंने यह बयान रविवार को मणिपुर के इंफाल स्थित केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह के दौरान दिया। उन्होंने बताया कि देश की सुरक्षा के लिए 10 उपग्रह लगातार चौबीसों घंटे काम कर रहे हैं। उनकी यह टिप्पणी भारत-पाकिस्तान सैन्य तनाव की पृष्ठभूमि में आई है, जब हाल ही में भारत ने "ऑपरेशन सिंदूर" के तहत पाकिस्तान और पीओके में आतंकी ठिकानों पर कार्रवाई की थी।


डॉ. नारायणन ने कहा, "अब तक भारत ने 34 देशों के कुल 433 उपग्रहों को सफलतापूर्वक कक्षा में स्थापित किया है। यह न केवल हमारी तकनीकी क्षमता को दर्शाता है, बल्कि भारत की वैश्विक अंतरिक्ष भागीदारी को भी मजबूत करता है।" उन्होंने बताया कि देश की सीमाओं और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विशेष रणनीतिक उद्देश्यों के तहत 10 उपग्रहों का नेटवर्क 24/7 निगरानी में लगा हुआ है।  उन्होंने यह भी कहा कि भारत को अपने 7,000 किलोमीटर लंबे समुद्र तट के साथ-साथ उत्तरी सीमाओं की लगातार निगरानी करनी होगी, जिसमें उपग्रह और ड्रोन तकनीक की केंद्रीय भूमिका होगी।  उन्होंने जोर देते हुए कहा,"यदि हमें अपनी संप्रभुता और सुरक्षा सुनिश्चित करनी है, तो हमें अंतरिक्ष तकनीक का पूरी तरह से दोहन करना होगा।" 

डॉ. नारायणन ने जानकारी दी कि इसरो G20 देशों के लिए एक विशेष उपग्रह पर काम कर रहा है, जो जलवायु परिवर्तन, वायु प्रदूषण और मौसम संबंधी घटनाओं की निगरानी करेगा। इसके अलावा भारत और अमेरिका मिलकर एक एडवांस्ड अर्थ-इमेजिंग सैटेलाइट बना रहे हैं, जिसे भारत से ही लॉन्च किया जाएगा। इसरो चीफ ने कहा, "1975 में भारत ने अपना पहला उपग्रह लॉन्च किया था, और तब से अब तक हमने विभिन्न क्षमताओं वाले कुल 131 उपग्रह बनाए और प्रक्षेपित किए हैं।" उन्होंने याद किया कि 1969 भारत के अंतरिक्ष इतिहास में मील का पत्थर था, जब इसरो की स्थापना हुई थी। "हम उस समय तकनीकी रूप से उन्नत देशों से 70 साल पीछे थे, लेकिन आज भारत विश्व की अग्रणी स्पेस पावर बनने की राह पर है।"

डॉ. नारायणन ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि देश को हर क्षेत्र में विकास की जरूरत है और कृषि इसमें एक अहम भूमिका निभाती है। उन्होंने कहा, “2047 तक विकसित भारत का सपना तभी साकार होगा, जब युवा शक्ति उसमें भागीदार बनेगी। आप सबके कंधों पर यह जिम्मेदारी है।”