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पवन कल्याण ने बिलावल भुट्टो को दी कड़ी प्रतिक्रिया, कहा- 'हर भारतीय अपना खून बहाने के लिए तैयार'

 29 Apr 2025

आंध्र प्रदेश के उपमुख्यमंत्री पवन कल्याण ने पहलगाम हमले की कड़ी निंदा करते हुए पाकिस्तानी नेता बिलावल भुट्टो को जमकर लताड़ लगाई है। जनसेना पार्टी के प्रमुख पवन कल्याण ने बिलावल के सिंधु नदी में "हिंदुस्तानी खून बहाने" वाले बयान को लेकर उन्हें कड़ी सलाह दी और कहा कि उन्हें इतिहास की गहराई में जाकर देखना चाहिए। पवन कल्याण ने यह भी कहा कि भारत ने पाकिस्तान को हर युद्ध में करारी शिकस्त दी है, और यदि भविष्य में पाकिस्तान ने फिर से कोई आक्रामक कदम उठाया, तो हर भारतीय अपने देश की रक्षा के लिए अपने खून को कुर्बान करने के लिए तैयार रहेगा। 


पवन कल्याण से जब पहलगाम हिंसा में मारे गए निर्दोष लोगों को श्रृद्धांजलि देने के दौरान बिलावल भुट्टो के विवादित बयान के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा, "बिलावल को यह याद रखना चाहिए कि भारत ने पाकिस्तान को हर युद्ध में किस तरह से हराया है। हमें लगता है कि अब हमें उन्हें उस समय के विजुअल्स भेजने चाहिए, जब हम पाकिस्तान से युद्ध कर रहे थे और हमारे पास 70,000 सैनिक थे। हमें उन्हें यह बताना होगा कि जब भी जरूरत पड़ी, हमने पाकिस्तान से सख्त तरीके से निपटा है। आज अगर पाकिस्तान फिर से किसी भी प्रकार की हिमाकत करता है, तो हर भारतीय पाकिस्तान जाएगा और अपने देश की सुरक्षा के लिए अपना खून बहाने के लिए तैयार रहेगा।"

यह बयान बिलावल के उस धमकी के संदर्भ में था, जो उन्होंने पाकिस्तान में एक रैली के दौरान भारत के खिलाफ दी थी। बिलावल ने सिंधु जल संधि पर भारत द्वारा किए गए फैसले की आलोचना की थी और यह दावा किया था कि सिंधु नदी पाकिस्तान की है और भारत ने 1960 में हुई इस संधि में इसे पाकिस्तान के हक में माना था। बिलावल ने यह भी कहा था कि यदि भारत ने सिंधु नदी का पानी रोकने का प्रयास किया, तो यह एक युद्ध की शुरुआत हो सकती है। उन्होंने यह बयान देते हुए यह भी कहा था कि पाकिस्तान एक छोटा देश हो सकता है, लेकिन यहां का आम नागरिक अपने हक के लिए हमेशा लड़ेगा। इसलिए, अगर सिंधु नदी में पानी नहीं बहता, तो इसका मतलब होगा भारतीयों का खून बहना। बिलावल भुट्टो के इस बयान की भारत में कड़ी आलोचना हुई थी, और उन्हें सोशल मीडिया और राजनीतिक मंचों पर खूब आलोचना का सामना करना पड़ा। 

कई भारतीय नेताओं ने इसे पाकिस्तान की ओर से किए गए एक तरह के अप्रत्यक्ष युद्ध की धमकी के रूप में लिया और उनकी निंदा की। पवन कल्याण के बयान के माध्यम से यह संदेश दिया गया कि भारत किसी भी प्रकार की धमकियों से डरने वाला नहीं है और अगर पाकिस्तान ने अपनी नापाक हरकतें जारी रखी, तो भारत की जनता और सेना हमेशा तैयार रहेगी। इस घटनाक्रम ने भारतीय राजनीति और अंतरराष्ट्रीय संबंधों में एक नई गर्मी को जन्म दिया है, जिसमें दोनों देशों के बीच तनाव और बढ़ने की संभावना को लेकर चर्चाएँ तेज हो गई हैं।