दिल्ली की आगामी सत्ता पर किस पार्टी का कब्जा होगा, इसका फैसला जनता ने आगामी चुनाव में किया है और अब सभी की निगाहें 8 फरवरी की मतगणना पर हैं, जब चुनावी नतीजे सामने आएंगे। हालांकि, उससे पहले अधिकांश एग्जिट पोल्स ने दिल्ली में भाजपा की जीत का अनुमान जताया है। इन सर्वेक्षणों के मुताबिक, आम आदमी पार्टी को बड़ा झटका लग सकता है, और भाजपा लगभग 27 साल बाद दिल्ली में सत्ता में वापसी कर सकती है। इसके अलावा, एग्जिट पोल्स में यह भी कहा गया है कि आम आदमी पार्टी के तीन प्रमुख नेताओं – अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया, और सौरभ भारद्वाज – को अपनी-अपनी सीटों पर हार का सामना करना पड़ सकता है।
पीपुल्स इनसाइट द्वारा किए गए सर्वे में अनुमान जताया गया है कि नई दिल्ली विधानसभा सीट से आम आदमी पार्टी के प्रमुख नेता और पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को भाजपा के प्रवेश वर्मा से हार का सामना करना पड़ सकता है।
जंगपुरा से मनीष सिसोदिया भी अपनी सीट हार सकते हैं, जो आम आदमी पार्टी के लिए सबसे सुरक्षित सीटों में से एक मानी जाती है। यहां से भाजपा ने तरविंदर सिंह मारवाह को मैदान में उतारा है। इसके अलावा, सौरभ भारद्वाज की ग्रेटर कैलाश सीट भी भाजपा के पक्ष में जा सकती है, जो आम आदमी पार्टी के लिए एक और बड़ा झटका हो सकता है।
वहीं, जहां आम आदमी पार्टी के दिग्गज नेताओं को झटका लग सकता है, वहीं दिल्ली की मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी की नेता आतिशी के लिए खुशखबरी है। कालकाजी सीट से आतिशी बीजेपी के रमेश बिधूड़ी और कांग्रेस की अलका लांबा को पीछे छोड़कर जीत सकती हैं, जो उनके राजनीतिक करियर के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि होगी। अगर हम ओवरऑल सीटों की बात करें तो एग्जिट पोल्स में भाजपा को 40-44 सीटें मिल सकती हैं, जबकि आम आदमी पार्टी को 25-29 सीटों पर सिमटना पड़ सकता है।
इसके अलावा, कांग्रेस को एक सीट मिल सकती है, लेकिन वह अभी भी विपक्षी दलों के मुकाबले काफी पीछे रहेगी।
आम आदमी पार्टी ने इन एग्जिट पोल्स को पूरी तरह से खारिज करते हुए दावा किया है कि हमेशा की तरह पार्टी को कमतर आंका गया है। पार्टी की राष्ट्रीय प्रवक्ता रीना गुप्ता ने कहा कि पिछले चुनावों में भी एक्जिट पोल्स में आम आदमी पार्टी को कम सीटें दिखाईं गई थीं, लेकिन असल नतीजों में पार्टी को कहीं ज्यादा सीटें मिलीं। उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली के लोग अब पूरी तरह से आम आदमी पार्टी के साथ हैं और पार्टी को इस बार ऐतिहासिक जीत हासिल होगी। उनका मानना है कि अरविंद केजरीवाल चौथी बार मुख्यमंत्री बनेंगे, और दिल्ली में उनकी सरकार को लोगों का पूर्ण समर्थन प्राप्त होगा।
साथ ही, उन्होंने यह भी बताया कि एक्जिट पोल केवल अनुमान होते हैं और इनका असल नतीजों से कोई सीधा संबंध नहीं होता।
चुनाव परिणाम शनिवार को घोषित किए जाएंगे, और यह चुनावी परिणाम आम आदमी पार्टी के लिए एक नया ऐतिहासिक मील का पत्थर साबित हो सकता है। एग्जिट पोल्स के आधार पर किए गए अनुमान अक्सर वोटिंग के बाद के मतदाताओं के जवाबों पर निर्भर होते हैं, जिनमें कई बार असल नतीजों से काफी भिन्नताएं हो सकती हैं।
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