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प्रधानमंत्री को झूठी सफाई देने में इतना समय क्यों लगा- असदुद्दीन ओवैसी

 15 May 2024

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हिंदू-मुस्लिम वाले बयान पर एआईएमआईएम चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने हमला बोला है। ओवैसी ने कहा कि प्रधानमंत्री को झूठी सफाई देने में इतना समय क्यों लगा। प्रधानमंत्री का राजनीतिक सफर मुस्लिम विरोधी राजनीति पर आधारित है। ओवैसी ने कहा कि मोदी ने अपने भाषणों में मुसलमानों को घुसपैठिया और ज्यादा बच्चे वाला कहा था।




बीजेपी ने मुसलमानों के खिलाफ नफरत फैलाई

हैदराबाद के सांसद ओवैसी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा, 'मोदी ने अपने भाषण में मुसलमानों को घुसपैठिया और बहुत अधिक बच्चों वाले कहा था। अब वह कह रहे हैं कि वह मुसलमानों के बारे में बात नहीं कर रहे थे, उन्होंने कभी हिंदू-मुस्लिम एंगल का इस्तेमाल नहीं किया।' ओवैसी ने कहा कि ये झूठी सफाई देने में इतना वक्त क्यों लग गया? मोदी का सियासी सफर सिर्फ और सिर्फ मुस्लिम विरोधी सियासत पर बना है।

पिछले चुनावों की तरह बीजेपी ने इस चुनाव में भी बीजेपी ने मुसलमानों के खिलाफ बहुत झूठ और नफरत फैलाई है। ओवैसी ने कहा कि कठघरे में सिर्फ मोदी नहीं, बल्कि हर वो वोटर है जिसने इस तरह के भाषणों के बावजूद बीजेपी को वोट दिया।



कांग्रेस की प्रतिक्रिया


वहीं कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि प्रधानमंत्री के पास हिंदू-मुसलमान की राजनीति के अलावा कोई एजेंडा नहीं है। पूरा देश जनता है की प्रधानमंत्री सिर्फ झूठ बोलते है। रमेश ने कहा कि प्रधानमंत्री ने इस चुनाव में हिंदू मुसलमान की राजनीति कर रहे है। जिसको लेकर हमने चुनाव आयोग में भी शिकायत दर्ज़ कराई लेकिन अभी तक कोई करवाई नहीं हुई।



पीएम मोदी ने क्या कहा

मंगलवार को एक टीवी इंटरव्यू में प्रधानमंत्री ने कहा था कि मैं जिस दिन हिंदू मुसलमान करुँगा उस दिन मैं सार्वजनिक जीवन में रहने के योग्य नहीं रहूंगा। पीएम मोदी ने यह भी दावा किया कि 2002 के गोधरा दंगों के बाद उनके विरोधियों ने मुसलमानों के बीच उनकी छवि खराब करने की कोशिश की थी।



मुसलमानों को घुसपैठिया वाले बयान पर क्या बोले मोदी 

21 अप्रैल को प्रधानमंत्री मोदी ने राजस्थान के बांसवाड़ा में कहा था कि अगर कांग्रेस सत्ता में आई तो लोगों की संपत्ति को ज्यादा बच्चे वालों और घुसपैठिया में बांट देगी। साथ ही प्रधानमंत्री ने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह पर आरोप लगाया था कि उन्होंने कहा था कि देश के संसाधनों पर पहला अधिकार अल्पसंख्यकों का है। प्रधानमंत्री ने इंटरव्यू में कहा कि उनका इशारा मुसलमानों की तरफ नहीं था। वह सिर्फ देश के गरीबों की बात कर रहा था।