एक बार फिर दमघोंटू हुई दिल्ली की हवा, AQI पहुंचा 'खतरनाक' जोन में

राजस्थान में मौसमी परिस्थितियों के चलते बन रहे प्रेशर ग्रिड का प्रभाव अब राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और उससे सटे एनसीआर क्षेत्रों में भी साफ दिखाई देने लगा है। राजधानी दिल्ली में शुक्रवार सुबह वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) गंभीर श्रेणी में दर्ज किया गया। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, दिल्ली में औसतन एक्यूआई 305 पर पहुंच गया है, जो ‘बहुत खराब’ श्रेणी में आता है। गौरतलब है कि गुरुवार को भी दिल्ली और एनसीआर के इलाकों में धूलभरी हवाओं का प्रभाव देखा गया था। मौसम विभाग ने पहले ही इस तरह के मौसमी बदलाव को लेकर चेतावनी दी थी, जिसमें दो से तीन दिनों तक धूलभरी हवाओं के बने रहने की संभावना जताई गई थी। अब यह स्पष्ट हो रहा है कि राजस्थान में उत्पन्न यह मौसमी गड़बड़ी राष्ट्रीय राजधानी की वायु गुणवत्ता पर प्रतिकूल असर डाल रही है।


भारतीय मौसम विभाग (IMD) के वरिष्ठ वैज्ञानिक नरेश कुमार ने स्थिति की गंभीरता को रेखांकित करते हुए बताया कि राजस्थान में तापमान में तीव्र बदलाव देखने को मिल रहा है। कहीं पर तापमान अत्यधिक बढ़ रहा है, तो कहीं अचानक गिरावट आ रही है। इस प्रकार के तापमानीय उतार-चढ़ाव की वजह से एक शक्तिशाली प्रेशर ग्रिड विकसित हो रहा है।

इसके परिणामस्वरूप राजस्थान में उठने वाली धूलभरी हवाएं पंजाब और हरियाणा होते हुए दिल्ली और एनसीआर तक पहुंच रही हैं। नरेश कुमार ने यह भी स्पष्ट किया कि इस मौसमी स्थिति के प्रभाव अगले एक-दो दिनों तक दिल्ली-एनसीआर में बने रहने की पूरी संभावना है। इस दौरान राजधानी में लगातार धूल से भरी तेज हवाएं चल सकती हैं, जिससे वायु गुणवत्ता में और गिरावट आने की आशंका है।

CPCB द्वारा साझा किए गए वास्तविक समय के आंकड़ों के अनुसार, दिल्ली के प्रमुख इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक चिंताजनक स्तर पर पहुंच चुका है। पश्चिमी दिल्ली के मुंडका में AQI 419, जबकि वजीरपुर में 422 तक दर्ज किया गया। वहीं अलीपुर (352), आनंद विहार (362), अशोक विहार (328), आयानगर (328), मथुरा रोड (344), द्वारका सेक्टर 8 (388), दिलशाद गार्डन (334) और नरेला (311) जैसे क्षेत्रों में भी हवा की गुणवत्ता बेहद खराब रही। इसके अतिरिक्त जहांगीरपुरी (353), ओखला (322), पंजाबी बाग (311), पटपड़गंज (321), रोहिणी (338), सोनिया विहार (302), विवेक विहार (324), बवाना (289), आईटीओ (218), और जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम (260) में भी प्रदूषण का स्तर खतरनाक स्थिति के करीब है। एनसीआर के प्रमुख शहरों की बात करें तो गुरुग्राम में एक्यूआई 294, फरीदाबाद में 288, गाजियाबाद में 283, ग्रेटर नोएडा में 256 और नोएडा में 289 तक दर्ज किया गया। ये आंकड़े स्पष्ट रूप से दर्शाते हैं कि पूरे एनसीआर क्षेत्र में वायु गुणवत्ता बुरी तरह प्रभावित हुई है।

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