फारूक अब्दुल्ला बोले– मां वैष्णो देवी ने बुलाया, ट्रेन से लौटते हुए कहा- ये सपना सच हुआ

जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने हाल ही में कटरा स्थित मां वैष्णो देवी मंदिर के दर्शन किए। दर्शन के बाद उन्होंने मीडिया से बातचीत में अपनी आध्यात्मिक यात्रा, विकास कार्यों और कश्मीर के पर्यटन को लेकर अपने विचार साझा किए।  अब्दुल्ला 10 जून को श्रीनगर से नई वंदे भारत एक्सप्रेस में सवार होकर कटरा पहुंचे थे। त्रिकुटा पर्वत स्थित मंदिर में दर्शन के बाद उन्होंने कहा, “माता ने बुलाया था, इसलिए मैं आया। यह एक आध्यात्मिक अनुभव था।” उन्होंने मंदिर परिसर में हो रहे विकास कार्यों की भी सराहना की।


कटरा से श्रीनगर लौटते समय भी फारूक अब्दुल्ला ने वंदे भारत ट्रेन की खूब तारीफ की। उन्होंने कहा, “यह ट्रेन जम्मू-कश्मीर के लिए एक बहुत बड़ी सौगात है। इससे न केवल लोगों की यात्रा सुगम हुई है, बल्कि पर्यटन और व्यापार को भी नई गति मिलेगी।” रेलवे सेवाओं की प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि ट्रेन की सुविधाएं शानदार हैं और इससे स्थानीय उत्पाद अब देश के विभिन्न हिस्सों तक पहुंच सकेंगे, जिससे आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा।

फारूक अब्दुल्ला ने इस यात्रा के दौरान चिनाब ब्रिज का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि जब उन्होंने ब्रिज को देखा तो उनकी आंखों में आंसू आ गए। उन्होंने भावुक होते हुए कहा, “मैंने कभी नहीं सोचा था कि हमारे जीवन में ऐसा चमत्कारिक निर्माण कार्य पूरा होता देखूंगा।" 

जब पत्रकारों ने पूछा कि उन्होंने मां वैष्णो देवी से क्या मांगा, तो फारूक अब्दुल्ला ने कहा, “मैंने मांगा कि देश में भाईचारा, मोहब्बत और अमन कायम रहे। सबसे बड़ी जरूरत शांति की है, तभी तरक्की संभव है।” पूर्व सीएम ने कहा कि वंदे भारत ट्रेन के शुरू होने से कश्मीर में पर्यटकों की संख्या में इजाफा होगा और स्थानीय व्यापार को बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने कहा, “हमारा सपना है कि जम्मू-कश्मीर देश के हर कोने से जुड़े, और यह ट्रेन उस सपने को साकार करने की दिशा में एक अहम कदम है।”

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